हर व्यक्ति समय-समय पर अपना गला साफ करता रहता है, जो कि एक सामान्य स्थिति होती है। बार-बार गला साफ करना कुछ लोगों की आदत भी हो सकती है। कुछ मामलों में व्यक्ति तभी गला साफ करता है, जब उसे गले में कुछ फंस जाने जैसा महसूस होता है। इतना ही नहीं ऐसी बहुत सारी वजह हो सकती हैं, जिनके कारण व्यक्ति को गले में कुछ फंसने जैसा महसूस हो सकता है जैसे गले में बलगम या कफ।
यदि आपको बार-बार गला साफ करने या खांसी करने की आदत पड़ गई है, तो इसके कारण का पता लगाना जरूरी होता है। गले में बलगम जमा होने से गले संबंधी कई समस्याएं हो सकती हैं, जिनमें कुछ का जल्द से जल्द उपचार करवाना बहुत जरूरी होता है। गले में जमा कफ को हटाने के लिए उसके कारण का पता लगाना बहुत जरूरी है।
(और पढ़ें - गले में चुभन के कारण)
- गले में कफ जमना क्या है? - What is Phlegm In Throat in Hindi
- गले में बलगम के लक्षण - Phlegm in Throat Symptoms in Hindi
- गले में बलगम बनने के कारण - Phlegm In Throat Causes in Hindi
- गले में बलगम से कैसे बचें? - Prevention of Phlegm in Throat in Hindi
- गले की बलगम का इलाज - Phlegm in Throat Treatment in Hindi
- सारांश
गले में कफ जमना क्या है? - What is Phlegm In Throat in Hindi
गले में बलगम जमना क्या है?
कफ या बलगम शरीर में बनने वाला एक प्रकार का तरल व चिपचिपा पदार्थ होता है, जिसे फेफड़ों व निचले श्वसन तंत्र के द्वारा बनाया जाता है। जब व्यक्ति बीमार हो जाता है या लंबे समय से उसको स्वास्थ्य संबंधी कोई समस्या चल रही है, तो उसके शरीर में अधिक कफ बनने लग जाता है जो गले में भी जमा हो सकता है।
यदि बलगम या कफ सामान्य मात्रा से अधिक बन रहा है, तो वह किसी रोग का संकेत हो सकता है। गले में जमा सामान्य से अधिक बलगम को निकालने में व्यक्ति को मुश्किल भी हो सकती है। गले में जमा बलगम में वायरस, बैक्टीरिया, अन्य कचरा व मृत कोशिकाएं हो सकती हैं।
(और पढ़ें - गले में सूजन का इलाज)
गले में बलगम के लक्षण - Phlegm in Throat Symptoms in Hindi
गले में कफ जमने के लक्षण क्या हैं?
गले में जमा बलगम से आपको ऐसा महसूस होता है, जैसे आपके गले में कुछ अटका हुआ है। साथ ही गले के कफ से खांसी होने लग जाती है, जो आमतौर पर रात के समय में काफी बढ़ जाती है। इतना ही नहीं गले में बलगम होना खांसी के सबसे मुख्य कारणों में से एक होता है।
खांसी व गले में कुछ अटकने जैसा महसूस होने के अलावा कुछ लक्षण भी हैं, जो गले में कफ जमा होने पर विकसित हो जाते हैं।
- गले में दर्द होना
- गले में खुजली महसूस होना
- जी मिचलाना
- बार-बार गला साफ करने की आदत होना
- बार-बार थूकना या बलगम निकलने की आदत
- मुंह से बदबू आना
- रात के समय खांसी अधिक बदतर हो जाना
डॉक्टर को कब दिखाएं?
यदि किसी व्यक्ति को ब्राउन, काले या अन्य किसी रंग का कफ निकल रहा है, तो ऐसी स्थिती में उनको डॉक्टर से मदद ले लेनी चाहिए। गले में कफ बनना किसी गंभीर बीमारी का संकेत भी हो सकता है, इसलिए इसकी तुरंत जांच करके इलाज करना बहुत जरूरी होता है।
(और पढ़ें - गले में इन्फेक्शन का इलाज)
गले में बलगम बनने के कारण - Phlegm In Throat Causes in Hindi
गले में कफ क्यों बनता है?
जुकाम व फ्लू जैसे कुछ प्रकार के संक्रमण हैं, जिनके कारण अधिक मात्रा में गले में कफ बनने लगता है या खांसी के साथ निकलने लगता है। कुछ प्रकार के एलर्जिक रिएक्शन भी हैं, जिनसे गले में बलगम की मात्रा बढ़ जाती है।
वैसे सामान्य स्वस्थ व्यक्ति को एक सामान्य मात्रा में बलगम चाहिए होता है, लेकिन अधिक मात्रा में होने पर यह परेशानी पैदा कर देता है। गले में अधिक बलगम जमा होने के निम्न कारण हो सकते हैं:
- संक्रमण
- एलर्जी
- नाक, गले या फेफड़ों में किसी प्रकार की जलन, खुजली या अन्य परेशानी
- पाचन संबंधी समस्याएं जैसे गर्ड
- सिगरेट पीना या तंबाकू के अन्य उत्पादों का सेवन करना
- फेफड़ों संबंधित रोग जैसे निमोनिया, फेफड़ों का कैंसर, सिस्टिक फाइब्रोसिस और सीओपीडी आदि।
गले में बलगम से कैसे बचें? - Prevention of Phlegm in Throat in Hindi
कुछ घरेलू उपाय हैं जिनकी मदद से गले में जमा बलगम को निकाला या कम किया जा सकता है। इनमें निम्न शामिल हैं:
- पर्याप्त मात्रा में पानी पीना:
पर्याप्त मात्रा में पानी व अन्य तरल पदार्थ पिएं, खासतौर पर गर्म पेय पदार्थ पीने से गले में जमा बलगम निकलने लग जाता है। पानी व अन्य तरल पेय पदार्थ गाढ़े कफ को पतला बना देते हैं, जिससे वह गले से बाहर निकलने लग जाता है। आप कोई भी फलों का रस या चिकन सूप भी पी सकते हैं।
- नमक पानी से गरारे करें:
एक गिलास हल्के गरम पानी में एक छोटा चम्मच नमक डालें और दिन में कई बार गरारे करें। ऐसा करने से गले में जमा कफ निकलने लग जाता है और गले में जलन व समस्याएं भी ठीक हो जाती है।
- नीलगिरी का तेल:
गले में जमा कफ को निकालने के लिए नीलगिरी के तेल का उपयोग भी किया जा सकता है। यह गले में जमा कफ को ढीला कर देता है, जिससे यह खांसी के साथ आसानी से निकल जाता है। नीलगिरी के तेल को पानी में डालकर इसकी भाप ली जा सकती है।
- धूम्रपान ना करें:
यदि आप धूम्रपान करते हैं, तो उसे जल्द से जल्द छोड़ दें, क्योंकि सिगरेट आदि पीने से गले व छाती में अत्यधिक मात्रा में बलगम जमने लग जाता है। धूम्रपान कर रहे व्यक्तियों से भी दूर रहना चाहिए।
- कैफीन वाले पेय पदार्थ व शराब ना पिएं:
यदि आप अत्यधिक मात्रा में कैफीन वाले पेय पदार्थ (जैसे चाय-कॉफी आदि) या शराब पीते हैं, इससे शरीर में पानी की कमी होने लग जाती है। यदि आपके गले में बलगम बनती है, तो कैफीन वाले पेय पदार्थ बिलकुल ना पिएं और खूब मात्रा में तरल अन्य तरल पदार्थ लें।
- एलर्जी का ध्यान रखें:
कुछ मौसमी एलर्जी भी हैं, जो गले में कफ जमा होने का कारण बन सकती हैं। मौसमी एलर्जी से अधिक मात्रा में बलगम बनने के साथ-साथ नाक बहना या बंद नाक जैसे लक्षण भी होने लग जाते हैं।
- एलर्जिक पदार्थों से दूर रहें:
कुछ प्रकार के केमिकल, सुगंधित पदार्थ और प्रदूषण आदि से गले के साथ-साथ नाक व श्वसन तंत्र में एलर्जी हो सकती है। ऐसी स्थिति में अधिक मात्रा में कफ बनने लग जाता है।
गले की बलगम का इलाज - Phlegm in Throat Treatment in Hindi
गले में कफ का इलाज कैसे करें?
यदि गले में कफ होने का कारण किसी प्रकार का संक्रमण या स्वास्थ्य संबंधी अन्य कोई बीमारी है, तो इस स्थिति का इलाज करने के लिए डॉक्टर कुछ दवाएं लिख सकते हैं। डॉक्टर कुछ विशेष प्रकार की दवाएं भी दे सकते हैं। जो कफ को पतला कर देती हैं, ताकि वह खांसी के साथ आसानी से बाहर निकल जाए।
कुछ ओटीसी (डॉक्टर की पर्ची के बिना मेडिकल स्टोर से मिल जाने वाली) दवाएं भी हैं, जिनकी मदद से गले में जमा बलगम को पतला करके आसानी से निकाला जा सकता है, जैसे ग्वाइफेनिसिन (Guaifenesin). एक्पोक्टोरेंट्स (Expectorants) दवा की मदद से भी गले की बलगम का इलाज किया जा सकता है। यह दवा बच्चों व वयस्कों दोनों के लिए उपलब्ध है और सामान्य मेडिकल स्टोर से मिल जाती है।
नोट: किसी भी प्रकार की दवा को लेने से पहले उस बारे में डॉक्टर से सलाह ले लेनी चाहिए।
सारांश
गले में कफ जमा होना एक सामान्य समस्या है, जो आमतौर पर सर्दी, एलर्जी, या संक्रमण के कारण होती है। कफ गले में जलन, खराश, और खांसी का कारण बन सकता है, जिससे सांस लेने और बोलने में परेशानी हो सकती है। इसे कम करने के लिए गर्म पानी पीना, भाप लेना, और शहद-नींबू का सेवन फायदेमंद होता है। नमक वाले गुनगुने पानी से गरारे करने से गले की सफाई होती है और कफ से राहत मिलती है। अगर कफ लंबे समय तक बना रहे या सांस लेने में कठिनाई हो, तो डॉक्टर से परामर्श लेना चाहिए।
गले में कफ के डॉक्टर

Dr. Varalakshmi Govindappa
कान, नाक और गले सम्बन्धी विकारों का विज्ञान
22 वर्षों का अनुभव

Dr. Anu Goyal
कान, नाक और गले सम्बन्धी विकारों का विज्ञान
25 वर्षों का अनुभव

Dr. Manish Gudeniya
कान, नाक और गले सम्बन्धी विकारों का विज्ञान
8 वर्षों का अनुभव
