लौंग एक सदाबहार वृक्ष है, जो एक फूल कली (Bud) का उत्पादन करता है जिसके कई औषधीय गुण हैं। इसे अक्सर लौंग कली के रूप में जाना जाता है। इसका लैटिन नाम क्लैवस है, जिसका अर्थ है नाखून। लौंग को अंग्रेजी में क्लोव कहा जाता है। लौंग को बड़े पैमाने पर प्राचीन भारतीय और चीनी सभ्यताओं में इस्तेमाल किया जाता रहा है और सातवें और आठवीं सदी के दौरान से यूरोप सहित दुनिया के अन्य हिस्सों में इसकी लोकप्रियता फैल हुई है। अब भी, कई भारतीय और चीनी व्यंजनों में लौंग का उपयोग किया जाता है।
लौंग के तेल में एंटीमाइक्रोबियल, एंटिफंगल, एंटीसेप्टिक, एंटीवायरल, कामोद्दीपक और उत्तेजक गुण होते हैं। लौंग कैल्शियम, हाइड्रोक्लोरिक एसिड, लोहा, फास्फोरस, सोडियम, पोटेशियम और विटामिन ए और विटामिन सी जैसे खनिजों में समृद्ध है। इस तेल का उपयोग दांत दर्द, अपच, खांसी, अस्थमा, सिरदर्द, तनाव और रक्त की अशुद्धियों सहित विभिन्न स्वास्थ्य विकारों के इलाज के लिए किया जाता है।
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