पपीता विश्व के उष्णकटिबंधीय और उपोष्णकटिबंधीय क्षेत्रों का एक प्रमुख फल है। पपीते का मूल स्थान अमेरिका के उष्णकटिबंधीय क्षेत्र हैं और पहली बार इसे मैक्सिको में उगाया गया था। भारत में पपीते को पुर्तगाली लेकर आए थे। अकसर पपीते की तुलना तरबूज से की जाती है लेकिन ये तरबूज से कम मीठा होता है। पपीते का असली स्वाद चखने के लिए पका पपीता ही खाना चाहिए। कच्चे पपीते का रंग हरा होता है जबकि अधपका पपीता आधा हरा और आधा पीला होता है। पपीता पूरी तरह से पकने के बाद पीले से संतरी रंग का हो जाता है।
इस फल के अनेक स्वास्थ्यवर्द्धक लाभ होते हैं। स्वाद और स्वास्थ्य के लिए फायदेमंद होने के कारण पपीता एक लोकप्रिय फल है। पपीते की खासयित है कि ये मौसमी फल न होकर सालभर मिलता है। अमूमन लोग नाश्ते और फ्रूट सलाद में पपीते का सेवन करते हैं।
पपीता विटामिंस से प्रचुर होता है। पपीते का स्वाद बढ़ाने के लिए इस पर नमक, मिर्च, चीनी या नींबू डालकर खा सकते हैं। कच्चे पपीते की सब्जी भी बनाई जा सकती है और इसका आप अचार भी बना सकते हैं। पपीते में पपेइन नामक एंजाइम होता है जिसका इस्तेमाल कॉस्मेटिक, च्युइंग गम में किया जाता है। ऐसा माना जाता है कि दुनियाभर में पपीते की लगभग 40 किस्मों की खेती की जाती है। नाशपाती के आकार पपीता 20 इंच तक बढ़ सकता है। पपीते में सैकड़ों नरम, काले चिपचिपे बीज होते हैं। इसके प्रत्येक टुकड़े का वजन 0.49 किलोग्राम से 1 किलोग्राम तक हो सकता है।
पपीते को स्मूदी या मिल्क शेक में भी डाल सकते हैं। इसमें प्राकृतिक रूप से फाइबर, कैरोटीन, विटामिन सी और अन्य जरूरी मिनरल्स मौजूद होते हैं। पपीते के पौधे की जड़, छाल, छिलका, बीज और गूदे में भी औषधीय गुण पाए जाते हैं।
भारत के कई हिस्सों में पपीते की खेती की जाती है। भारत के दक्षिण में आंध्र प्रदेश, कर्नाटक और केरल, पश्चिम में बंगाल, पूर्व में असम, उड़ीसा एवं गुजरात, महराष्ट्र तथा मध्य प्रदेश और मध्य भारत में पपीते का सबसे अधिक उत्पादन किया जाता है। विश्व में भारत पपीता का सबसे बड़ा उत्पादक है। भारत में लगभग 30 लाख टन पपीते का उत्पादन किया जाता है जो कि विश्व में पपीते के कुल उत्पादन का आधा हिस्सा है। भारत अपने पड़ोसी देशों जैसे कि बहरीन, सऊदी अरब, संयुक्त अरब अमीरात, कुवैत, कतर और नीदरलैंड को पपीता निर्यात करता है।
पपीते के बारे में तथ्य:
- वानस्पतिक नाम: केरिका पपाया
- कुल: कैरिकेसी
- सामान्य नाम: पपीता
- संस्कृत नाम: एरण्ड कर्कटी
- उपयोगी भाग: फल, पत्तियां, फूल, जड़, तना और बीज
- उत्पत्ति: वैसे तो पपीते का मूल स्थान मैक्सिको और उत्तरी दक्षिण अमेरिका माना जाता है लेकिन अब इसे विश्व के लगभग सभी उष्णकटिबंधीय क्षेत्रों में उगाया जाता है।
- रोचक तथ्य: जून को नेशनल पपाया मंथ मनाया जाता है।