जननांग दाद:-
जननांग के दाद एक यौन संचारित रोग होता है। यह दाद के एक 'हार्पिज़ सिंप्लेक्स' वायरस (Herpes Simplex Virus) के फैलने से होता है।
हर्पिज़ सिंपलेक्स वायरस त्वचा या श्लेष्मा झिल्ली (Mucous Membranes) में अति सूक्ष्म छेदों की मदद से उनके अंदर घुसकर जननांग दाद का कारण बनते हैं।
हर्पिज़ वायरस के प्रकार निम्न हैं:
- हर्पिज़ सिंप्लेक्स वायरस 1 – आमतौर पर यह वायरस जलन रहित घाव का कारण बनता है।
- हर्पिज़ सिंप्लेक्स वायरस 2 – यह वायरस आमतौर पर जननांग दाद का कारण बनता है।
- इसके अलावा हर्पिज सिंप्लेक्स वायरस जननांग हिस्सों पर घावों का कारण भी बन सकता है।
जब जननांग दाद के लक्षण शुरू होते हैं तो इसमें जननांग क्षेत्र में दर्दनाक फफोले या छाले, खुजली व झुनझुनी और जलन आदि लक्षण शामिल होते हैं। इसके अलावा बुखार, शरीर में दर्द और लसीका ग्रंथि में सूजन जैसे लक्षण भी दिख सकते हैं। वायरस के पुनसक्रिय होने के कारण जननांग दाद किसी व्यक्ति को जीवन भर आते-जाते रहते हैं। किसी व्यक्ति में जननांग दाद आम तौर पर उसको संक्रमण के संपर्क में आने के चार दिन के भीतर विकसित होने लग जाते हैं।
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आम तौर पर इसका निदान त्वचा में बदलाव की जांच करके किया जाता है, लेकिन वायरल कल्चर, हर्पिज़ सिंप्लेक्स वायरस की जीनोम सामग्री का अनुवांशिक विस्तारण (Genetic Amplification) और अन्य टेस्ट भी जननांग दाद के निदान में शामिल हो सकते हैं।
वैसे तो जननांग दाद का कोई पूर्ण इलाज नहीं होता, मगर कुछ दवाएं हैं, जो दाद से होने वाली परेशानियों को काफी हद तक कम करने में मदद कर सकती हैं। एंटीवायरल दवाओं का प्रयोग जननांग दाद की गंभीरता और बारंबारता (बार बार आना) को कम कर देती है। गर्भावस्था के दौरान आमतौर पर खाने वाली एंटीवायरल दवाइयां प्रयोग की जाती हैं।
कुछ दाद के घरेलू नुस्खे दाद की गंभीरता को कम करने या थोड़ी राहत दिलाने में मदद कर सकते हैं, मगर इसका पूर्ण इलाज उपलब्ध नहीं करवा पाते।